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जिन्दगी है इसी पल में,जी लीजिए।
फिर मत कहना, जहर है बस पी लीजिए।
सांसे ले जा रहीं हैं मौत के करीब।
फिर ना कहना है क्या कोई तरकीब।।

कब तक की हैं ये बेचैनियाँ ।
कोई न जाने ये अटखेलियां।
सुकून है जहां वो पल है मौजूद।
फिर क्यूं ढूंढते हो जहां तहां।।

जिन्दगी है इसी पल में,जी लीजिए।
फिर मत कहना, जहर है बस पी लीजिए।।

चैन जो तुम मांगते हो।
क्यूं नहीं साथ बैठ एक दूसरे को जानते हो।
आओ बैठो पास कुछ लम्हें साथ बिताते हैं।
कल की तो खबर है नहीं।
आज ही कल के हिस्से को जी कर दिखाते है।।

जिन्दगी है इसी पल में,जी लीजिए।
फिर मत कहना, जहर है बस पी लीजिए।।

तोड़ सारे बंधन ख्वाइशों को जी लीजिए।
सपनो को उड़ान भर आसमान में दिखने दीजिए।
लहराकर दामन समेट इन्हें हथेलियों से आज मुक्त होने दीजिए।
मन में ना हो बोझ,दिल में न हो भेद।
लम्हों का पता नहीं , सांसों में है जैसे छेद।।

जिन्दगी है इसी पल में,जी लीजिए।
फिर मत कहना, जहर है बस पी लीजिए।।

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