आओ अब अपने सपनों का, अभिनव हिंदुस्तान बनायें,
गद्दार, भ्रष्टाचार, आतन्क से, अपना भारत मुक्त बनायें,
अपराधी व्यक्ति, नेता को, हम कुछ ऐसे सबक सिखायें,
जो हश्र देख जन, दहशत से न, देशद्रोह के पथ अपनायें ।
राष्ट्र प्रेम और नैतिकता मय, एक जुट हिंदुस्तान बनायें !
आओ हम अपने सपनों का, अभिनव हिन्दुस्तान बनायें !!
आजादी को गांधी जी ने, जन जन का सहयोग लिया तब,
भ्रष्टाचार की आजादी को, जन जन ने सहयोग दिया अब,
अपने दुष्कर्मों के फल से, कोई, कब तक बच पायेगा -
किसे पता था मोदी नेता, सबकी लंका साथ जला जायेगा।
चकित विश्व यह सोच रहा है, भारत को फिर गुरू बनायें !
आओ हम अपने सपनों का, अभिनव हिन्दुस्तान बनायें !!
आज विश्व में, एकजुट आतन्क, युद्धों की मार बहुत है,
वर्चस्व, स्वार्थ, अहंकार जैसे, मुद्दों की भरमार बहुत है,
मानव ही मानवता खाकर, अभिमान सिन्धु में डूब रहा है,
झूठी मान, प्रतिष्ठा, दम्भों पर, अन्धा हो, फल फूल रहा है,
भारतीय कूटनीति, संयम से, सभी युद्ध की अग्नि बुझायें !
आओ हम अपने सपनों का, अभिनव हिन्दुस्तान बनायें !!
संयम, त्याग, अहिंसा, प्यार से, दुनियां में शान्ति करवायें,
भारतीय प्रतिभा, क्षमता से, दुनियां को परिचित करवायें,
अपनी सर्वोत्तम कूटनीति का, दुनियां से लोहा मनवायें,
प्यारे भारत के जन जन को, इस जग में गर्वित करवायें ।
सभी आन्तरिक और बाहरी, युद्धों को हम शान्त कराये !
आओ, हम अपने सपनों का, अभिनव हिन्दुस्तान बनायें !!